By Ritika
Aug, 01, 2024
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हिमाचल प्रदेश में मंडी और मणिकरण साहिब और रामपुर में बादल फटा है। उत्तराखंड के टिहरी और केदारनाथ के भीमबली में भी बादल फटने से अफरा तफरी मची हुई है
बादल फटने की घटना लगभग पृथ्वी से 15 किलोमीटर की ऊंचाई पर घटती है, जिस कारण जब वर्षा होती है तो वह 100 मिलीमीटर प्रति घंटा की दर से होती है
बादल का फटना या क्लाउडबर्स्ट यानी बहुत कम समय में एक सीमित दायरे में अचानक बहुत भारी बारिश होना है
मौसम विज्ञान विभाग के मुताबिक,अगर किसी क्षेत्र में 20-30 वर्ग किमी दायरे में एक घंटे में 100 मिलीमीटर बारिश होती है तो ऐसे में उसे बादल का फटना कहा जाता है
घनत्व बढ़ने से जोरदार आवाज के साथ बादल फटता है और फिर एक दम से बहुत तेज बारिश शुरू हो जाती है
बादल के अंदर का ठंडा तापमान इस नमी को तरल में बदल देता है और ये दल, लाखों, अरबों या खरबों छोटी पानी की बूंदों के रुप में मौजूद होते हैं
बता दें कि मानसूम में मौसम में सफेद बादलों की जगह दिखने वाले काले बादल ही पानी बरसाते हैं