हाल ही में भोपाल की एक रैली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा समान नागरिक संहिता पर खुद का विचार रखते हुए लोगों से पूछा कि- क्या आप नहीं चाहेंगे कि एक देश में सभी के लिए एक ही कानून हो। उनके इस बयान के बाद से यूसीसी को लेकर बहस चरम पर है। इस दौरान गुरुवार को अखिल भारत हिंदू महासभा/संत महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी चक्रपाणि जी महाराज ने समान नागरिक संहिता के समर्थन में एक क्यूआर कोड जारी किया। साथ ही उन्होंने सभी से अपील की है कि यूसीसी का समर्थन कर देश को मजबूत करने का काम करें।
स्वामी चक्रपाणि जी महाराज ने कहा…..
आपको बता दें स्वामी चक्रपाणि जी महाराज ने कहा है कि यह सर्वविदित हम सबके पूर्वजों ने बलिदान देकर हमें अंग्रेजों की गुलामी से आजादी दिलाई, लेकिन एक औरत ने जिस प्रकार इस अखंड भारत में रहने से मना करते हुए न केवल अलग से मुस्लिम राष्ट्र की मांग की बल्कि उसे हासिल किया। उसी का नतीजा हुआ कि 14 अगस्त 1947 को भारत से पाकिस्तान अलग हो गया। उसके बाद जो शेष भारत बचा उसे आज हम आजाद भारत के नाम से जानते हैं।
सभी पक्षों से इस प्रस्ताव पर राय देने की अपील की
आजाद भारत में भी कहीं न कहीं हिंदुओं के साथ नाइंसाफी करते हुए भारत के तत्कालीन धर्मनिरपेक्ष नेताओं ने देश को एक धर्मनिरपेक्ष राष्ट्र बना दिया। इतना ही नहीं दूसरे वर्ग को मजहब के नाम पर विशेष छूट दे दी।कॉमन सिविल कोड बनाकर हिंदुओं के साथ अन्याय किया, लेकिन सविंधान निर्माताओं ने यूनिफॉर्म सिविल कोड का विकल्प दिया था। वर्तमान केंद्र सरकार आज उसी पर अमल करने की दिशा में अपना कदम आगे बढ़ा चुकी है। सरकार के इस रुख के बाद विधि आयोग सभी पक्षों से इस प्रस्ताव पर राय देने की अपील की है।