कांग्रेस ने कहा है कि जिस खादी की प्रशंसा कर प्रधानमंत्री नरेंद मोदी ने उसके इस्तेमाल के लिए लोगों का आह्वान किया था अब उनकी सरकार ने उसी खादी ग्रामोद्योग से निर्मित राष्ट्रीय ध्वज तिरंगे की जगह चीन में तैयार पॉलिस्टर के झंडे को आयात करने का निर्णय लिया है और देश के करीब दस करोड़ लोगों की रोजी रोटी पर सीधा हमला हुआ है।
दस लाख लोगों के पेट पर हमला
कांग्रेस के सिक्कम, त्रिपुरा एवं नागालैंड के प्रभारी महासचिव डॉ अजय कुमार ने शुक्रवार को यहां पार्टी मुख्यालय में संवाददाता सम्मेलन में कहा कि देश की आजादी की 75वीं वर्षगांठ पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) सरकार ने पॉलिस्टर निर्मित राष्ट्रीय ध्वज के निर्माण और आयात की अनुमति देने के लिए भारतीय झंडा संहिता में संशोधन करने का निर्णय लिया है। पॉलिस्टर के तिरंगों का निर्माण चीन से कराया जाएगा या चीन से पॉलिस्टर आयात करके देश में तिरंगों का निर्माण कराया जाएगा और इसका फायदा चीन को होगा।
उन्होंने कहा कि हमारे यहां खादी ग्रामोद्योग तिरंगा बनाता है और इस उद्योग से दस करोड़ से ज्यादा लोगों की रोजी रोटी चलती है। श्री मोदी ने खुद को भारत के खादी उद्योग के संरक्षक के रूप में पेश करते हुए रेडियो पर प्रसारित अपने मासिक कार्यक्रम‘मन की बात’ में देशवासियों से खादी उत्पाद खरीदने का आह्वान किया था, लेकिन अब उनकी सरकार मशीन निर्मित और आयातित पॉलिस्टर निर्मित तिरंगे के आयात की अनुमति देकर देश की भावनाओं तथा खादी ग्रामोद्योग से जुड़ दस लाख लोगों के पेट पर हमला कर दिया है।
आरएसएस हमेशा तिरंगे का अपमान किया
डॉ। कुमार ने कहा कि मोदी सरकार के इस निर्णय से हजारों श्रमिकों का रोजगार ही नहीं छीना है बल्कि हर घर तिरंगा अभियान का मत्राक भी उड़या है और इसे हर घर में चीन का बना हुआ तिरंगा बनाकर रख दिया है। देश के सरकारी उपक्रमों को बेचने में लगी मोदी सरकार ने अब तिरंगे को भी बेचने का फैसला कर दिया है। उनका कहना था कि कांग्रेस के लोगों ने तिरंगे के सम्मान के लिए जान दी है और 11 जनवरी 1942 को तिरंगा फहराने के आरोप में अंग्रेजों ने छह देशभक्तों की गोली मारकर हत्या कर दी थी। दूसरी तरफ भाजपा के मातृ संगठन राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) ने हमेशा तिरंगे का अपमान किया है और अपने मुख्यालय पर कभी तिरंगा नहीं लहराया है।
उन्होंने कहा कि तिरंगा को आयात करने का फैसला कर मोदी ससरकार ने दस करोड़ से ज्यादा लोगों के पेट पर सीधा हमला किया है। उनका कहना था कि तिरंगा खादी ग्रामोद्योग संगठन बनाता है और जब तिरंगा चीन से खरीदा जाएगा तो देश के 10 करोड़ से ज्यादा लोगों की रोजी रोटी पर इसका सीधा असर पड़गा। इस तरह से मोदी सरकार घर-घर तिरंगा की बजाय घर-घर चीन में निर्मित तिरंगा पहुंचाने की योजना बना रही है।