एनसीपी प्रमुख शरद पवार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ 1 अगस्त को एक ही मंच साझा करेंगे, पीएम मोदी को इस दौरान तिलक स्मारक मंदिर ट्रस्ट की ओर से लोकमान्य तिलक राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा, जिसमें एनसीपी शरद पवार अतिथि होंगे, वहीं दूसरी तरफ इस कार्यक्रम को लेकर एक नया विवाद और खड़ा हो गया है। अब सवाल उठ रहा है कि पवार किसे ज्यादा महत्व देंगे क्योंकि केंद्र सरकार लोकसभा में दिल्ली अध्यादेश से जुड़ा बिल लाने वाली है।
जानिए क्यों दिया जाएगा पीएम मोदी को यहां पुरस्कार
ट्रस्ट का कहना है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नागरिकों के बीच देशभक्ति की भावना को बढ़ावा देने के उनके प्रयासों के लिए दिया जा रहा है, पीएम मोदी के नेतृत्व में देश में तेजी से विकास हो रहा है, इसलिए इस पुरस्कार के 41वें प्राप्तकर्ता के रूप में पीएम मोदी को चुना गया है, जिसमें एक स्मृति चिन्ह और पत्र दिया जाएगा।
क्या इंडिया गठबंधन में आ सकती है दरार
एनसीपी में बगावत और अजित पवार के एनडीए में शामिल होने के बाद पहली बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और शरद पवार एक साथ दिखेंगे, पीएम मोदी और शरद पवार के मंच साझा करने को लेकर अलग-अलग नेताओं की प्रतिक्रियाएं सामने आ रही हैं. इसी कड़ी में एनसीपी सांसद वंदना चौहान ने कहा- ‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस देश के पीएम हैं, उनका सम्मान करना पड़ेगा इसलिए प्रोग्राम में शरद पवार जा रहे हैं’, सूत्रों के अनुसार, इंडिया गठबंधन पीएम मोदी के साथ मंच साझा करने को लेकर नाराज दिख रहे है।
जानिए कार्यक्रम से जुड़ी हर बात
सूत्रों का कहना है कि विपक्षी दल की इस बैठक में इस बात पर चर्चा हुई है कि शरद पवार को एक अगस्त वाले कार्यक्रम की जगह राज्यसभा में वोटिंग को महत्व देना चाहिए, पुणे में 1 अगस्त को होने वाला यह कार्यक्रम तिलक स्मारक मंदिर ट्रस्ट (हिंद स्वराज संघ) की तरफ से ऑर्गेनाइज किया जा रहा है।