16 दिसंबर का दिन सैनिकों के शौर्य को सलाम करने का दिन है। पूरे देश में 16 दिसंबर को विजय दिवस के रूप में मनाया जाता है। इसी दिन 1971 में भारत ने पाकिस्तान के दांत खट्टे किए थे। भारत ने पाकिस्तान पर जीत का जश्न मानाया था। इस ऐतिहासिक जीत की खुशी आज भी हर देशवासी के मन को उमंग से भर देती है।
मोदी सरकार और भाजपाई अपनी सस्ती और घटिया राजनीति से बाज़ नहीं आएँगे।
बंगलादेश की आज़ादी के 50वें विजय-शौर्य दिवस पर PM और सरकार के लोगों द्वारा 1971 की लड़ाई की “आयरन लेडी”, इंदिरा गाँधी जी का नाम तक न लेना उनकी कुंठित और संकुचित मानसिकता का उदाहरण है। #Bangladesh
— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) December 16, 2021
जिसपर कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने विजय-शौर्य दिवस पर बीजेपी सरकार के ट्वीट को लेकर जमकर निशाना साधा है। उन्होंने कहा, मोदी सरकार और भाजपाई अपनी सस्ती और घटिया राजनीति से बाज़ नहीं आएंगे। उन्होंने कहा, बंगलादेश की आजादी के 50वें विजय-शौर्य दिवस पर PM और सरकार के लोगों द्वारा 1971 की लड़ाई की “आयरन लेडी”, इंदिरा गाँधी जी का नाम तक न लेना उनकी कुंठित और संकुचित मानसिकता का उदाहरण है।
पीएम मोदी शहीदों को श्रद्धांजलि दी
1971 युद्ध के स्वर्णिम विजय पर्व के मौके पर पीएम मोदी गुरुवार को नेशनल वॉर मेमोरियल पहुंचे जहां उन्होंने 1971 युद्ध के शहीदों को श्रद्धांजलि दी। पीएम मोदी ने यहां स्वर्णिम विजय मशालों के स्वागत और सम्मान समरोह में भाग लेते हुए जंग में शहीद सैनिकों को श्रद्धांजलि दी। बता दें, प्रधानमंत्री के साथ देश के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह भी मौजूद रहे।दरअसल पीएम मोदी ने पिछले साल इसी दिन चार स्वर्णिम विजय मशालों को प्रज्वलित किया था. PMO से मिली जानकारी के मुताबिक, इन मशालों को देश के अलग-अलग हिस्सों में ले जाया गया. इनमें 1971 की हुई जंग में परमवीर चक्र और महावीर चक्र विजेता सैनिकों के गांव भी शामिल बताये जा रहे हैं।
मशालों को एक ज्वाला के तौर पर विलय किया जाएगा
बताया जा रहा है कि इस श्रद्धांजलि समारोह के दौरान इन मशालों को एक ज्वाला के तौर पर विलय किया जाएगा. पीएम मोदी ने आज सुबह ट्वीट कर कहा था कि, ‘मैं 50वें विजय दिवस के मौके पर मुक्तियोद्धाओं, वीरांगनाओं और भारतीय सशस्त्र बलों के वीरता और उनके बलिदान को याद करता हूं। उन्होंने आगे कहा कि, हमने साथ मिलकर इन दमनकारी ताकतों से लड़ाई लड़ी और उन्हें हराया। उन्होंने कहा कि, इस विजय दिवस के मौके पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद भी ढाका पहुंचेंगे।’
हमें अपने सशस्त्र बलों और उनकी उपलब्धियों पर गर्व है- राजनाथ सिंह
राजनाथ सिंह ने इस मौके पर कहा, ‘स्वर्णिम विजय दिवस के अवसर पर हम 1971 के युद्ध के दौरान अपने सशस्त्र बलों के साहस और बलिदान को याद करते हैं। 1971 का युद्ध भारत के सैन्य इतिहास का स्वर्णिम अध्याय है। हमें अपने सशस्त्र बलों और उनकी उपलब्धियों पर गर्व है।