प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को कहा कि भारत में चौथी औद्योगिक क्रांति का नेतृत्व करने की क्षमता है और सरकार ने देश को वैश्विक विनिर्माण केंद्र बनाने के लिए सुधार किए हैं। उन्होंने कहा कि चौथी औद्योगिक क्रांति जितनी नई तकनीक से जुड़ी है, वह नई सोच से भी जुड़ी है.
एक संदेश में उन्होंने कहा, “भारत विभिन्न कारणों से पिछली औद्योगिक क्रांतियों का हिस्सा बनने से चूक गया। लेकिन, भारत में ‘उद्योग 4.0’ का नेतृत्व करने की क्षमता है। इसका कारण बताते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि हाल के इतिहास में पहली बार हमारे पास जनसांख्यिकी, मांग और निर्णायक शासन जैसे कई अलग-अलग कारक एक साथ हैं।
मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा देने के लिए कई कदम उठाये
भारी उद्योग मंत्रालय के संयुक्त सचिव ने यहां ‘उद्योग 4.0’ पर एक सम्मेलन में प्रधानमंत्री का संदेश पढ़ा। मोदी ने कहा कि भारत को वैश्विक मूल्य श्रृंखला में एक महत्वपूर्ण कड़ी बनाने में उद्योग और उद्यमी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
उन्होंने कहा, “हमने भारत को दुनिया का एक प्रौद्योगिकी संचालित विनिर्माण केंद्र बनाने के लिए सुधारों और प्रोत्साहनों को बढ़ावा दिया है।” कार्यक्रम में भारी उद्योग मंत्री महेंद्र नाथ पांडेय ने कहा कि सरकार ‘औद्योगिक क्रांति 4.0’ के जरिए मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा देने के लिए कई कदम उठा रही है। उन्होंने कहा, “भारत एक वैश्विक विनिर्माण केंद्र बनने की ओर बढ़ रहा है… 3डी प्रिंटिंग, मशीन लर्निंग, डेटा एनालिटिक्स और आईओटी औद्योगिक विकास को गति देने के लिए महत्वपूर्ण हैं।