साल 2023 में अभी तक नीट जैयारी करने वाले 22 बच्चे असफलता से निराश होकर जिंदगी की जंग हार चुके हैं। इसपर दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल एक ट्वीट कर प्रतियोगी छात्रों द्वारा आत्महत्या करने का सिलसिला जारी रहने पर गंभीर चिंता जाहिर की है। उन्होंने कहा कि छात्रों को इस दुष्चर्क से बचाने के लिए हमें न केवल शिक्षा व्यवस्था को बदलने की जरूरत है, बल्कि छात्रों के मेंटल हेल्थ पर भी काम करने की जरूरत है।
बच्चों की मेंटल हेल्थ पर काम करना जरूरी
बीते दिनों हमने देखा था आत्महत्या रोकने के लिए PG के पंखे बदलवाए जा रहे थे। ये हमारी शिक्षा व्यवस्था का हाल है. इसकी जगह जरूरत पंखा बदलने की नहीं, शिक्षा सिस्टम बदलने की है। बच्चों की मेंटल हेल्थ पर काम करना भी जरूरी है। डीसीडब्लू चीफ स्वाति मालीवाल ने सोमवार को अपने एक ट्वीट में लिखा है कि राजस्थान के कोटा में कल 2 NEET छात्रों ने आत्महत्या कर ली। इस साल अब तक 22 बच्चे जिंदगी से जंग हार चुके हैं।
22 छात्र-छात्राओं ने साल 2023 में आत्महत्या की
इंजीनियरिंग कॉलेज में प्रवेश के लिए आयोजित जेईई और नीट जैसी प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए देशभर से हर साल दो लाख छात्र-छात्राएं कोटा आते हैं। साल 2023 में अभी तक जिले में प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयार कर रहे 22 छात्र-छात्राओं ने आत्महत्या की है। यह अब तक का किसी एक वर्ष का आत्महत्या के सबसे अधिक मामले हैं। साल 2022 में यह आंकड़ा 15 था। बता दें कि राजस्थान में कोटा जिला प्रशासन के अधिकारियों ने छात्रों की आत्महत्या के मामले लगातार आने के बाद कोचिंग संस्थानों से अगले दो माह तक नीट और अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी में जुटे प्रतियोगियों के नियमित टेस्ट नहीं कराने का निर्देश दिया है।
रविवार को कोटा में चार घंटे के भीतर दो छात्रों ने अपनी जान ले ली
कासले ने कुछ मिनट पहले ही कोचिंग संस्थान की तीसरी मंजिल पर एक परीक्षा दी थी। कासले की मौत के चार घंटे बाद नीट की ही तैयारी कर रहे आदर्श राज ने शाम करीब सात बजे कुन्हाड़ी थाना क्षेत्र स्थित अपने किराये के कमरे में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। चिंता की बात यह है कि रविवार को कोटा में चार घंटे के भीतर दो छात्रों ने अपनी जान ले ली। इनमें से एक अविष्कार संभाजी कासले ने रविवार अपराह्न 3 बजकर 15 मिनट पर जवाहर नगर में अपने कोचिंग संस्थान की इमारत की छठी मंजिल से छलांग लगा दी।