वाजपेयी के अस्थि विसर्जन का राजनीतिकरण करके भाजपा ने उनका कद किया छोटा : शिवसेना - Punjab Kesari
Girl in a jacket

वाजपेयी के अस्थि विसर्जन का राजनीतिकरण करके भाजपा ने उनका कद किया छोटा : शिवसेना

शिवसेना ने कटाक्ष करते हुए कहा, भाजपा में वरिष्ठ नेताओं को तवज्जो नहीं दी जाती लेकिन उनकी अस्थियों

मुंबई : शिवसेना ने भाजपा पर दिवंगत प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की अस्थियों को विसर्जित करने के कार्यक्रम को राजनीतिक रंग देने का सोमवार को आरोप लगाते हुए कहा कि अपनेपन का जो तमाशा किया गया, उसने महान नेता के निधन के बाद उनके कद को छोटा कर दिया है।

बता दें कि वाजपेयी का निधन 16 अगस्त को हुआ था और उसके बाद भाजपा ने उनकी अस्थियों को देश भर की अनेक नदियों में विसर्जित करने का निर्णय किया था। शिवसेना ने कटाक्ष करते हुए कहा, भाजपा में वरिष्ठ नेताओं को तवज्जो नहीं दी जाती लेकिन उनकी अस्थियों को महत्व दिया जाता है।

पार्टी ने अपने मुखपत्र सामना के संपादकीय में कहा कि किसी व्यक्ति को सच्ची श्रद्धांजलि देना उनके विचारों को आने बढ़ाना होता है न कि उसके प्रति अपनेपन का दिखावा करना। संपादकीय में कहा गया, ”वाजपेयी के निधन से पैदा हुई शून्यता को (कुछ लोगों द्वारा) बेतुके और अनुपयुक्त तरीके से भरने की कोशिश की जा रही है। भाजपा में वरिष्ठों को कोई महत्व नहीं दिया जाता लेकिन उनकी अस्थियों को बेहद महत्व दिया जाता है।”

क्या 16 अगस्त को ही हुआ था वाजपेयी का निधन, शिवसेना नेता राउत ने उठाए सवाल !

इसमें कहा गया कि वाजपेयी का आकर्षण पूरे भारत में था और विभिन्न राजनीतिक पार्टियों के वरिष्ठ नेता उनके अंतिम संस्कार में मौजूद थे क्योंकि वह हर मायने में महान थे। उद्धव ठाकरे नीत पार्टी ने कहा, ”लेकिन उनके निधन के बाद उनके कद को छोटा करने के प्रयास किए जा रहे हैं।”

इसमें कहा गया कि अस्थि विसर्जन का कार्यक्रम किसी एक पार्टी की बजाय इसमें सभी पार्टियों को शामिल करते हुए एक राष्ट्रीय कार्यक्रम की तरह अयोजित किया जाना चाहिए था। संपादकीय में कहा गया, ”कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने इसमें भाग लिया होता और दुनिया अटल जी की महानता और उनकी ख्याति को देखती।”

इसमें आगे कहा गया कि जिस गंभीरता के साथ वाजपेयी जी की अस्थियों को ले जाया जाना चाहिए था और विसर्जित किया जाना चाहिए था वह एक दो मामलों को छोड़ कर नदारद थी। उनकी अस्थियों को प्रवाहित करने का कार्यक्रम किसी राजनीतिक कार्यक्रम की तरह था।

संपादकीय में आगे कहा गया कि कुछ ने तो अस्थि कलश को इस तरह से उठाया हुआ था मानो कि वह कोई ट्रॉफी हो। कुछ मंत्री (भाजपा के) और पार्टी के अधिकारियों के हावभाव विश्व कप ट्रॉफी जीतने जैसे थे। इसमें कहा गया कि वाजपेयी के संबंधियों को ऐसा महसूस हुआ कि उनके निधन के बाद देश में शोक की लहर का इस्तेमाल राजनीतिक लाभ लेने के लिए किया गया। संपादकीय के अनुसार,”इससे अधिक गंभीर मुद्दा अस्थि विसर्जन की विचलित करने वाली तस्वीरें है। ऐसा किसी के भी साथ न हो।”

प्रधानमंत्री का भाषण केवल ‘आंकड़ों की आतिशबाजी’ : शिवसेना

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

4 × one =

Girl in a jacket
पंजाब केसरी एक हिंदी भाषा का समाचार पत्र है जो भारत में पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश और दिल्ली के कई केंद्रों से प्रकाशित होता है।