प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गांधीनगर के अडालज के त्रिमंदिर में ‘मिशन स्कूल्स ऑफ एक्सीलेंस’ की शुरुआत करते हुए 5 जी के आने से होने वाले बदलावों के बारे में बताया। उन्होंने कहा कि अगर मुझे 5जी के बारे में गांव की भाषा में समझाना हो तो मैं कहूंगा कि 4जी साइकल है तो 5जी हवाई जहाज है।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हाल ही में, देश ने मोबाइल और इंटरनेट सेवाओं की पांचवीं पीढ़ी (5G) युग में प्रवेश किया है। हमने अब तक 4जी तक की इंटरनेट सेवाओं का इस्तेमाल किया है। अब, 5G एक बड़ा बदलाव लाने वाला है। स्मार्ट सेवाओं, स्मार्ट क्लासरूम और स्मार्ट टीचिंग से आगे, 5G हमारी शिक्षा प्रणाली को अगले स्तर पर ले जाएगा। छात्रों को स्कूलों में वर्चुअल रियलिटी और इंटरनेट ऑफ थिंग्स का आसानी से अनुभव होगा। मिशन स्कूल ऑफ एक्सीलेंस के जरिए गुजरात ने इसके लिए देश में पहला कदम उठाया है।
भाषा केवल संवाद का माध्यम
पीएम मोदी ने कहा कि अंग्रेजी भाषा में पढ़ना लिखना बुद्धिजीवी होने का पर्याय बन गया है जबकि भाषा केवल संवाद का माध्यम होती है। अब हम भारतीय भाषाओं में साइंस, टेक्नॉलजी और मेडिकल की पढ़ाई के विकल्प देने की कोशिश कर रहे हैं। नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति गुलामी की मानसिकता से देश को बाहर निकालकर टैलेंट को, इनोवेशन को निखारने का प्रयास है। भारतीय भाषाओं में भी साइंस, टेक्नोलॉजी, मेडिकल की पढ़ाई का विकल्प अब विद्यार्थियों को मिलना शुरू हो गया है।
बीते 2 दशकों में गुजरात के शिक्षा क्षेत्र में अभूतपूर्व परिवर्तन
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि बीते 2 दशकों में गुजरात में शिक्षा के क्षेत्र में जो परिवर्तन आया है वो अभूतपूर्व है। 20 साल पहले गुजरात में 100 में से 20 बच्चे स्कूल ही नहीं जाते थे और जो बच्चे जाते थे उनमें से कई बच्चे 8वीं तक पहुंचते-पहुंचते स्कूल ही छोड़ देते थे बेटियों की स्थिति तो और खराब थी।
उन्होंने कहा कि मिशन स्कूल ऑफ एक्सीलेंस के तहत स्कूलों में 50,000 नए क्लासरूम, 1 लाख से अधिक स्मार्ट क्लासरूम को आधुनिक रूप में विकसित किया जाएगा। केंद्र सरकार ने पूरे देश में साढ़े 14 हज़ार से अधिक पीएम स्कूल बनाने का फैसला किया है। ये स्कूल पूरे देश में नई नेशनल एजुकेशन पॉलिसी के लिए मॉडल स्कूल होंगे।