विजयवाड़ा : आंध्र प्रदेश सरकार का राज्य की पूर्ववर्ती सरकार द्वारा किए गए बिजली खरीद समझौतों की समीक्षा का निर्णय ‘तबाही को निमंत्रण’ है। इससे राज्य में निवेश का माहौल खराब होगा। राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू ने शनिवार को यह बात कही।
वाईएसआर कांग्रेस पार्टी नीत आंध्र प्रदेश सरकार ने नायडू के नेतृत्व वाली पूर्ववर्ती सरकार के कार्यकाल में किए गए बिजली खरीद समझौतों की समीक्षा का निर्णय किया है। इन समझौतों का आकार 30,000 करोड़ रुपये से अधिक है और इसके चलते उद्योग जगत पहले ही राज्य में निवेश कर चुका है। नायडू ने ट्वीट किया कि मौजूदा सरकार द्वारा बिजली खरीद सौदों की समीक्षा का निर्णय तबाही को निमंत्रण देने वाला है।
यह उद्योग को नुकसान पहुंचाएगा। यह राज्य की निवेश आकर्षिक करने की क्षमता को भी नुकसान पहुंचाएगा। उन्होंने कहा, इतना ही नहीं यह एक पसंदीदा निवेश स्थल के तौर पर भारत की छवि को भी नुकसान पहुंचाएगा। हाल ही में स्टरलाइट पावर समूह के मुख्य कार्यकारी अधिकारी प्रतीक अग्रवाल ने कहा था कि निवेश की दृष्टि से समझौतों पर फिर से बातचीत करना बिलकुल ठीक नहीं है। यदि कोई एक राज्य ऐसा करता है तो इससे पूरे क्षेत्र की श्रेय पात्रता प्रभावित होगी।