हिमाचल प्रदेश में बारिश से बड़े स्तर पर बर्बादी हुई ,कुदरत का कहर कुछ ऐसा बरसा प्रेदश के चलते विकास को काफी पीछे ले गया। राज्य हुई बर्बादी के मंज़र का प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू खुद जायजा लिया। जिसके बाद प्रदेश वासियो को हर संभव मदद का वादा किया। एक आधिकारिक बयान के अनुसार राज्यों को 4000 करोड़ का नुक्सान हुआ। जिसके चलते हिमाचल सरकार के मदद के लिए दान की वेबसाइट भी लॉन्च की। सुक्खू ने प्राकृतिक आपदा से राहत की आशा रखते हुए संसद भवन में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से मुलाकात की और क्षेत्र के लिए अंतरिम राहत पर चर्चा की।
राज्य के लिए अंतरिम राहत पर चर्चा
मीडिया से बात करते हुए सीएम सुक्खू ने कहा, ”मैंने हिमाचल प्रदेश में आई प्राकृतिक आपदा के संबंध में केंद्रीय गृह मंत्री और वित्त मंत्री से मुलाकात की और राज्य के लिए अंतरिम राहत पर चर्चा की। इससे पहले मंगलवार को सीएम सुक्खू और केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने संयुक्त रूप से कुल्लू जिले में आई हालिया आपदा के बाद की स्थिति का आकलन किया।
हालात कल्पना से भी ज्यादा गंभीर
केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा, “लोगों को भारी नुकसान हुआ है और स्थिति उससे भी बदतर है जितनी उन्होंने कल्पना की होगी। भारी बारिश के कारण अचानक आई बाढ़, भूस्खलन और बादल फटने से सड़कों, पुलों और निजी संपत्ति को अभूतपूर्व नुकसान हुआ है।” उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा सेंट्रल रोड एंड इंफ्रास्ट्रक्चर फंड (सीआरआईएफ) के तहत 400 करोड़ रुपये जारी किए जाएंगे ताकि मरम्मत और बहाली का काम युद्ध स्तर पर किया जा सके।