हल्द्वानी : हल्द्वानी शहर में डेंगू बुखार महामारी का रूप ले चुका है। इसे रोकने के लिए राज्य सरकार और स्थानीय नगर निगम हल्द्वानी द्वारा काेई उचित कार्रवाई नहीं की गई। हल्द्वानी क्षेत्र में डेंगू से 1 दर्जन से अधिक लोगों की मृत्यु हो चुकी है और लगभग 2,000 से अधिक लोग डेंगू के बुखार से ग्रसित है। यह बात एआईसीसी के सदस्य सुमित हृदयेश ने एक पत्रकार वार्ता में कही। उन्होंने कहा कि डेंगू महामारी के विकराल लेने के बावजूद अभी तक हल्द्वानी नगर निगम द्वारा डेंगू को लेकर आपात बोर्ड की बैठक क्यों नहीं बुलाई।
उन्होंने कहा कि नगर निगम द्वारा समय से ही फॉकिंग कार्य क्यों नहीं किया गया। जबकि बरसात का मौसम शुरू होने के समय पर ही फागिंग कर देनी चाहिए थी। उन्होंने कहा कि इस लापरवाही के लिए नगर निगम ही जिम्मेदार है उन्होंने कहा कि नगर निगम क्षेत्र में सड़कों का टूटा एवं गड्ढे युक्त होना भी नगर निगम की बड़ी विफलता है इन टूटी सड़कों और गड्ढों में बरसाती पानी इकट्ठा रहने से डेंगू मच्छर को पनपने हेतु अनुकूल वातावरण मिला जिस कारण डेंगू ने महामारी का रूप धारण कर लिया।
उन्होंने कहा कि नगर निगम क्षेत्र में शामिल नए वार्डो हेतु नए सफाई कर्मचारी की भर्ती ना होने से वार्डो में सफाई व्यवस्था सुचारू रूप से नहीं हो सकी जिस कारण डेंगू सहित अन्य संक्रामक रोगों का खतरा बना हुआ है। उन्होंने कहा कि डेंगू से बचाव हेतु सरकार द्वारा अभी तक विज्ञापन एवं प्रचार प्रसार के माध्यम से आम जनमानस को क्यों सचेत नहीं किया गया।
उन्होंने कहा प्रदेश की भाजपा सरकार हर मोर्चे पर विफल साबित हुई है। प्रेस वार्ता में राहुल छिमवाल, गोविंद बिष्ट, राजीव जयसवाल राजेंद्र बिष्ट, त्रिलोक सिंह कठायत, पार्षद रवि जोशी, विनोद दानी, पार्षद मोहम्मद गुफरान, मुकुल बलुटिया, जीवन कार्की, हेमंत साहू आदि मौजूद थे।