केंद्र सरकार द्वारा जम्मू एवं कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने के तीन महीने से अधिक समय बाद, प्रवर्तन निदेशालय ने आतंक-वित्तपोषण के संबंध में हिजबुल मुजाहिदीन (एचयूएम) के प्रमुख सैयद सलाहुद्दीन व अन्य की संलिप्तता मामले में सात संपत्तियों को अपने कब्जे में कर लिया है।
ईडी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि सभी सातों संपत्तियों को मामले में पहले जब्त किया गया था। उन्होंने कहा, लेकिन ऐसा पहली बार है जब हमने घाटी में इन संपत्तियों को अपने कब्जे में लिया है। पहले हमें संपत्ति को अपने अधीन करने के लिए दूसरी एजेंसियों पर निर्भर रहना पड़ता था।
उन्होंने कहा कि ये संपत्तियां अनंतनाग, सोपोर और बांदीपोरा में स्थित हैं। उन्होंने कहा कि सातों संपत्तियों को औपचारिक रूप से पहले ही जब्त कर लिया गया था। संबंधित अधिकारियों की पुष्टि के बाद, ईडी के अधिकारियों ने स्थान का दौरा किया था और वहां नोटिस चिपका दिया था।
उन्होंने कहा कि यह कार्रवाई राष्ट्रीय जांच एजेंसी के आरोपपत्र के आधार पर की गई थी। अधिकारी ने कहा कि अनुच्छेद 370 के प्रभावी होने के बाद ही संपत्तियों को कब्जे में लेना संभव हो सका। केंद्र सरकार ने जम्मू एवं कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को 5 अगस्त को हटा दिया था।