जम्मू एवं कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाली धारा 35ए की वैधता को चुनौती देने वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सोमवार को सुनवाई टल गई। अब अगली सुनवाई 27 अगस्त को होगी। सुप्रीम कोर्ट में तीन न्यायाधीशों की पीठ में एक न्यायाधीश की अनुपस्थिति की वजह से सुनवाई टाल दी गई।
इस सुनवाई में यह तय किया जाएगा कि क्या इस मामले को पांच सदस्यीय संविधान पीठ को सौंपा जाए या नहीं। अदालत में कुछ वकीलों ने सुनवाई पर जोर दिया लेकिन मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा और न्यायमूर्ति ए.एम खानविलकर की पीठ ने कहा कि मामले पर तीन न्यायाधीशों की पीठ को सुनवाई करनी थी जिसमें न्यायमूर्ति डी.वाई चंद्रचूड़ शामिल हैं, चूंकि वह मौजूद नहीं हैं इसलिए इस पर सुनवाई नहीं हो सकती।
जम्मू-कश्मीर : अनुच्छेद 35A पर चर्चा करने को तैयार हो गयी भाजपा
मुख्य न्यायधीश मिश्रा ने याचिका पर सुनवाई स्थगित करते हुए कहा, ‘अनुच्छेद 35ए पिछले 60 वर्षों से चलन में है और हम केवल यह देखेंगे कि यह संविधान की मूल संरचना का उल्लंघन कर रहा है या नहीं।’ जम्मू एवं कश्मीर सरकार ने सितंबर में निर्धारित पंचायत और शहरी निकाय चुनाव का हवाला देते हुए याचिका पर सुनवाई स्थगित करने की मांग की थी।
अटॉर्नी जनरल के.के.वेणुगोपाल ने अदालत को बताया कि सितंबर में 6,000 पंचायतों के चुनाव होंगे इसलिए यह सुनवाई करने का ठीक समय नहीं है। वेणुगोपाल ने अदालत को यह भी बताया कि इस मामले में मध्यस्थ भी राज्य सरकार से बातचीत कर रहे हैं।