Uttarakhand: पौडी गढ़वाल के जंगल में भड़की आग, NDRF की टीम मौके पर पहुंची Uttarakhand: A Massive Fire Broke Out In The Forest Of Pauri Garhwal, NDRF Team Reached The Spot
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Uttarakhand: पौडी गढ़वाल के जंगल में भड़की आग, NDRF की टीम मौके पर पहुंची

Uttarakhand: राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल की एक टीम गुरुवार को उत्तराखंड के पौडी गढ़वाल जिले में जंगल में आग की घटनाओं को नियंत्रित करने के लिए पौडी पहुंची। टीम ने बताया, ”NDRF टीम में अधिकारियों समेत कुल 50 सदस्य हैं। हालांकि कल रात हुई बारिश के बाद जंगल में आग लगने की घटनाएं रुक गई हैं, लेकिन आने वाले दिनों में अगर मौसम साफ रहा तो जंगल में आग लगने की घटनाएं एक बार बढ़ सकती हैं ऐसी स्थिति में, एनडीआरएफ की टीम जंगलों में उतरकर जंगल की आग पर काबू पायेगी।”

  • NDRF की टीम पौडी गढ़वाल के जंगल में आग को नियंत्रित करने पहुंची
  • NDRF टीम में अधिकारियों समेत कुल 50 सदस्य हैं
  • हालांकि कल रात हुई बारिश के बाद जंगल में आग लगने की घटनाएं रुक गई हैं
  • अगर मौसम साफ रहा तो जंगल में आग लगने की घटनाएं एक बार बढ़ सकती हैं

NDRF संभालेगी मोर्चा

 

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अधिकारी ने आगे बताया कि NDRF की मदद से मैनपावर की कमी से भी जूझ रहे वन विभाग को अब काफी हद तक जंगल की आग पर काबू पाने में मदद मिलेगी। उन्होंने कहा, ”कल ही वायुसेना की MI-17 जंगल की आग पर काबू पाने के बाद जिले से रवाना हो गई, वहीं अब आने वाले दिनों में जंगल में आग की घटनाएं बढ़ने पर NDRF मोर्चा संभालेगी।” इस बीच, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरुवार को वन प्रशिक्षण अकादमी में वनों की आग की रोकथाम पर चर्चा के लिए एक उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक की। बैठक के दौरान उन्होंने वरिष्ठ अधिकारियों को मौके पर फील्ड में रहकर वनाग्नि की घटनाओं को प्रभावी ढंग से रोकने तथा कार्मिकों का मनोबल बनाये रखने के निर्देश दिये।

मुख्यमंत्री ने दिए निर्देश

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मुख्यमंत्री ने वन विभाग के कर्मियों को ग्रामीणों के साथ बेहतर समन्वय बनाने का भी निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि “बेहतर समन्वय से ग्रामीण किसी भी प्रकार की आपदा के समय सहयोगी की भूमिका निभाएंगे। इससे आपदा के प्रभाव को कम करने में काफी हद तक मदद मिलेगी और ग्रामीण अपने जंगलों से जुड़ाव भी महसूस करेंगे।” मुख्यमंत्री ने कहा कि ”हालांकि वन विभाग समय के साथ जंगल की आग की घटनाओं से निपटने का प्रयास कर रहा है, फिर भी इस दिशा में वन विभाग को राज्य के लिए एक समावेशी योजना तैयार करनी चाहिए ताकि हर साल होने वाली आग को कम किया जा सके।” उन्होंने इस संबंध में देश-विदेश के विकसित मॉडलों का अध्ययन करने पर जोर दिया और कहा कि जरूरत के मुताबिक उन्हें राज्य की योजना में शामिल करने के प्रयास किये जाने चाहिए। मुख्यमंत्री ने कहा, ”वन विभाग निचले स्तर से अपने ढांचे को मजबूत कर कार्यों को बेहतर ढंग से क्रियान्वित करने पर ध्यान दे।” मुख्यमंत्री ने सड़क निर्माण एजेंसियों को सड़क निर्माण की गुणवत्ता पर विशेष ध्यान देने का निर्देश दिया। उन्होंने क्षेत्र की पारिस्थितिकी के अनुरूप पौधारोपण करने और सड़क सुरक्षा के लिए लगाए जा रहे क्रैश बैरियरों के लिए भी कहा।

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