बेटी की इज्जत बचाने के लिए पत्नी ने कराया अपने ही पति का कत्ल - Punjab Kesari
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बेटी की इज्जत बचाने के लिए पत्नी ने कराया अपने ही पति का कत्ल

मध्यप्रदेश के जबलपुर में एक पत्नी ने अपने पति डॉ. शफातुल्लाह खान के गुप्तांग कटवाने के लिए साजिश

मध्यप्रदेश के जबलपुर में एक पत्नी ने अपने पति डॉ. शफातुल्लाह खान (55) के गुप्तांग कटवाने के लिए साजिश रची। लेकिन हत्यारों ने पति को जान से ही मार दिया। खान की हत्या मंगलवार को हुई थी।

शुरुआत में पुलिस को यह मामला लूटपाट का लगा था, क्योंकि हत्यारे वारदात के बाद मौके से कुछ नकदी और जेवर लेकर फरार हो गए थे। खास बात है कि उस दौरान 45 वर्षीय आयाशा बेटी और पोते के साथ घर पर थी, जिसे वे बाथरूम में बंद कर गए थे। लेकिन जब पुलिस ने पूछताछ शुरू की तो हत्या के पीछे की असली वजह सामने आई। पुलिस ने खान की पत्नी समेत अन्य रिश्तेदारों को शनिवार को गिरफ्तार कर लिया है।

मंगलवार (12 जून) रात 55 वर्षीय डॉक्टर शफतुल्लाह खान की उन्हीं के घर पर हत्या कर दी गई थी। पुलिस ने इसी मामले में शनिवार (16 जून) को उनकी पत्नी आयशा व रिश्तेदारों- नंदिनी व उसके पति पवन विश्वकर्मा को गिरफ्तार किया। जबलपुर के एसपी शशिकांत शुक्ल ने बताया कि मृतक के शरीर पर सीने पर 12 बार चाकू गोदने के निशान मिले, जबकि गला और कलाइयां भी रेती हुई मिलीं।

आपको बता दे कि आयाशा का कहना है कि उसने मेरी भतीजी की जिंदगी बर्बाद कर दी। जब वह महज 9 साल की थी तभी उसने उससे कई बार दरिंदगी की। उसके कई महिलाओं से संबंध थे। अब उसकी बुरी नजर अपनी ही छोटी बेटी पर थी। उसकी हत्या नहीं कराती तो वह मेरी बेटी की जिंदगी भी बर्बाद कर देता। राम ने जैसे रावण का वध किया था, वैसे ही मैंने उसका व किया है।

शुक्ला ने बताया कि खान की शादी आएशा से साल 1991 में हुई थी लेकिन खान के अन्य कई महिलाओं के साथ भी संबंध थे। मामले पर खान की पत्नी आएशा का कहना है कि उसका पति लड़कियों को नर्स की नौकरी का लालच देकर बाद में उनके साथ रेप करता था। उसने बताया कि वह उसकी भतीजी नंदिनी के साथ भी रेप कर चुका था। उस वक्त नंदिनी की उम्र महज 11 वर्ष थी। जिसके बाद वह गर्भवती भी हो गई थी।

आएशा ने दावा करते हुए पुलिस को बताया कि खान के इतने गलत कामों के बाद भी मामला शांत हो चुका था लेकिन बाद में उसके परिवार को खान के बारे में सबकुछ पता चल गया तो उसे ये कदम उठाना पड़ा। उसकी भतीजी नंदिनी के पति पवन ने दो लोगों राजेंद्र मालवीय और धीरज को इस काम के लिए बुलाया।

आयशा ने बताया उसके पति डॉ. शफतउल्ला का चरित्र ठीक नहीं था। बेटियों से वह नफरत करता था। दो बेटियां पहले ही हो चुकी थीं। इससे वह नाराज रहता था। वह तीसरी बेटी नहीं चाहता था, इसलिए 7 बार उसका गर्भपात कराया। इसके लिए शहर के अलग-अलग सोनोग्रॉफी सेंटर में उसकी जांच भी कराई थी। 8वीं बार में बेटे की बात पता चली तो बहुत खुश हुआ।

बेटी पर उसके पति डॉ. शफतउल्ला की गंदी नजर पड़ गई थी। डेढ़ माह पहले जब उसकी नींद खुली, तो पति बेटी के कमरे में था। वहां बेटी अकेले सोती थी। यह देखकर वह सहम गई। इसके बाद उसने बेटी को कहा, तो उसने कहा कि पापा उसे बहुत प्यार करते हैं। इससे वह नाराज हो गई और उसने बेटी को थप्पड़ मारकर कहा कि दरवाजा बंद करके सोया करो। इसी बात को लेकर दूसरे दिन पति से भी झगड़ा हुआ था।

आयशा ने भतीजी से कहा कि क्या ऐसा कोई है, जो हत्या कर सकता हो। इसके बाद यह प्लानिंग शुरू हुई और तीन माह तक भाड़े के हत्यारे को दोनों तलाशते रहे। इस बीच आयशा ने एक व्यक्ति को फोन लगाकर हत्या करने की बात कही। लेकिन उसने इनकार कर दिया। इसके बाद आयशा ने भतीजी को ही पूरी जिम्मेदारी सौंप दी थी।

12 जून को वे जबलपुर गए थे, जहां आयशा ने दोनों को 10-10 हजार रुपए पति का गुप्तांग काटने के लिए दिए थे, मगर पवन के कहने पर उन्होंने डॉक्टर को मौत के घाट ही उतार दिया। पुलिस ने इस पर आयशा, नंदिनी और राजेंद्र को पकड़ लिया है, जबकि पवन और धीरज अभी भी फरार हैं। वारदात के बाद महिला बोली, “जैसे राम ने रावण का वध किया था, ठीक उसी तरह मैंने भी उसका (पति) वध कराया।

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