अमरनाथ यात्रा के लिए पंजीकरण शुरू हो गए हैं और भक्तों की लंबी कतारें देखी जा सकती हैं। पंजीकरण के लिए स्वास्थ्य जांच अनिवार्य है। इस साल यात्रा 3 जुलाई से शुरू होकर 9 अगस्त को रक्षा बंधन पर समाप्त होगी। जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने यात्रा की तिथियों की घोषणा की और सुविधाओं को बेहतर बनाने के उपायों पर चर्चा की।
भक्तों के लिए अमरनाथ यात्रा पर जाने से पहले पंजीकरण कराना होता है। यह पंजीकरण मंगलवार से शुरू हो गए। पंजीकरण के लिए लोगों की लंबी कतारें देखी जा सकती हैं। श्रद्धालु रोहित ने बताया कि यात्रा के लिए पंजीकरण कराने वाले श्रद्धालुओं की स्वास्थ्य जांच की जा रही है। उन्होंने कहा कि मैं बहुत उत्साहित हूं, यह मेरा दूसरा मौका है जब मैं अमरनाथ यात्रा पर जा रहा हूं। यात्रा के लिए पंजीकरण कराने वाले श्रद्धालुओं को स्वास्थ्य जांच से गुजरना पड़ता है। एक उत्साहित श्रद्धालु सोनिया मेहरा ने बताया कि यह उनका दूसरा मौका है जब वे अमरनाथ यात्रा पर जा रही हैं। मेहरा ने कहा कि मैं इस साल अमरनाथ यात्रा के लिए बहुत उत्साहित हूं। यह मेरा दूसरा मौका है, मुझे उम्मीद है कि मुझे हर साल यह यात्रा करने का मौका मिलेगा।
बता दें कि इस साल यह यात्रा 3 जुलाई को दोनों मार्गों अनंतनाग जिले में पहलगाम ट्रैक और गंदेरबल जिले में बालटाल से एक साथ शुरू होने वाली है। यह यात्रा रक्षा बंधन के अवसर पर 9 अगस्त को समाप्त होगी। यात्रा की तिथियों की घोषणा जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने 5 मार्च को राजभवन में श्री अमरनाथ जी श्राइन बोर्ड (एसएएसबी) की 48वीं बोर्ड बैठक के दौरान की थी। बोर्ड ने श्रद्धालुओं के लिए सुविधाओं और सेवाओं को और बेहतर बनाने के लिए विभिन्न उपायों और हस्तक्षेपों का प्रस्ताव रखा।
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श्री अमरनाथ जी यात्रा-2025 के लिए तीर्थयात्रियों की संभावित बढ़ती संख्या को देखते हुए, बैठक में जम्मू, श्रीनगर और अन्य स्थानों पर केंद्रों पर ठहरने की क्षमता बढ़ाने, ई-केवाईसी के लिए यात्री सुविधा केंद्रों को चालू करने, आरएफआईडी कार्ड जारी करने और नौगाम और कटरा रेलवे स्टेशनों सहित कई स्थानों पर तीर्थयात्रियों का मौके पर ही पंजीकरण करने के उपायों पर चर्चा की गई। इस बात पर भी चर्चा की गई कि आवश्यकतानुसार बालटाल, पहलगाम, नुनवान और पंथा चौक श्रीनगर में भी इन सुविधाओं को उपयुक्त रूप से बढ़ाया जाना चाहिए। संबंधित विभागों द्वारा किए जा रहे विभिन्न कार्यों की प्रगति की समीक्षा करते हुए उपराज्यपाल ने यात्रा के मार्ग में विभिन्न स्थानों पर पर्याप्त व्यवस्था और अपेक्षित सुविधाएं सुनिश्चित करने की आवश्यकता पर बल दिया।