भारत के ऑपरेशन सिंदूर में पाकिस्तान और पीओके में आतंकियों के खिलाफ की गई एयर स्ट्राइक में मारे गए आतंकियों की सूची जारी हुई है। इनमें लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद के प्रमुख सदस्य शामिल हैं, जो भारत में आतंकी गतिविधियों में सक्रिय थे। इनमें से एक आतंकी कांधार अपहरण मामले में भी वांछित था।
पाकिस्तान के खिलाफ चलाए गए भारत के ऑपरेशन सिंदूर में मारे गए आतंकियों की लिस्ट सामने आ गई है, जिसमें उनके नाम और पहचान का खुलासा हुआ है। 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारतीय सेना ने ऑपरेशन सिंदूर चलाया था। पाकिस्तान और पीओके में घुसकर जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा के 9 आतंकी ठिकानों को नष्ट कर दिया गया। सरकारी सूत्रों के मुताबिक, एयर स्ट्राइक में मारे गए आतंकियों में कई ऐसे नाम शामिल हैं, जो भारत में आतंकी हमलों, युवाओं को कट्टरपंथी बनाने और हथियारों की तस्करी जैसे गंभीर मामलों में सक्रिय भूमिका निभा रहे थे।
भारतीय सेना ने एयर स्ट्राइक में आतंकियों का खात्मा किया
1 मुदस्सर खादियां खास (अबू जुंदाल) – लश्कर-ए-तैयबा से जुड़ा यह आतंकी मुरीदके स्थित ‘मरकज तैयबा’ का मुखिया था। उसकी मौत के बाद पाकिस्तानी सेना ने उसे गार्ड ऑफ ऑनर दिया और पाक सेना प्रमुख और पंजाब की मुख्यमंत्री मरियम नवाज ने पुष्पांजलि अर्पित की। जमात-उद-दावा के हाफिज अब्दुल रऊफ की अगुआई में सरकारी स्कूल में उसकी जनाजे की नमाज पढ़ी गई। इसमें पाकिस्तान के एक लेफ्टिनेंट जनरल और पंजाब पुलिस के आईजी भी शामिल हुए।
2. हाफिज मोहम्मद जमील – जैश-ए-मोहम्मद से जुड़ा यह आतंकी मौलाना मसूद अजहर का साला था और बहावलपुर स्थित ‘मरकज सुभान अल्लाह’ का मुखिया था। वह युवाओं को कट्टरपंथी बनाने और संगठन के लिए फंड जुटाने में सक्रिय था।
3. मोहम्मद यूसुफ अजहर (उस्ताद जी) – जैश-ए-मोहम्मद का यह आतंकी मसूद अजहर का साला था और हथियारों की ट्रेनिंग देता था। वह जम्मू-कश्मीर में कई हमलों में शामिल था और आईसी-814 कांधार अपहरण मामले में वांछित था।
4. खालिद (अबू अकाशा) – लश्कर-ए-तैयबा का यह सदस्य जम्मू-कश्मीर में आतंकी हमलों और अफगानिस्तान से हथियारों की तस्करी में शामिल था। उनका अंतिम संस्कार फैसलाबाद में किया गया, जिसमें पाक सेना के वरिष्ठ अधिकारी और फैसलाबाद के डिप्टी कमिश्नर शामिल हुए।
5. मोहम्मद हसन खान: मोहम्मद हसन खान जैश-ए-मोहम्मद का आतंकी है। हसन खान मुफ़्ती असगर खान कश्मीरी का बेटा (जो पीओके में जैश का ऑपरेशन प्रमुख है)। इसकी भूमिका जम्मू-कश्मीर में आतंकी हमलों के समन्वय करना होता है।
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