कहाँ तक पहुंचा आदित्य एल-1? सूरज की तरफ बढ़ा रहा लगातार कदम - Punjab Kesari
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कहाँ तक पहुंचा आदित्य एल-1? सूरज की तरफ बढ़ा रहा लगातार कदम

भारत अपने अंतरिक्ष मिशन में कामयाब होने के लिए हर कोशिशें में जुट गया है पहले चंद्रयान थी

भारत अपने अंतरिक्ष मिशन में कामयाब होने के लिए हर कोशिशें में जुट गया है पहले चंद्रयान थी की सफलता तो अब आदित्य एल 1 पर पूरे देशवासियों की नजर गड़ी हुई है की क्या चंद्रयान-3 की तरह ही यह भी सफलतापूर्वक L1 पॉइंट तक पहुंच पाएगा? खबर आ रही है कि भारत के पहले सूर्य मिशन आदित्य L 1 ने अभी स्पेस क्राफ्ट के चौथे यानी कि अर्थ बाउंड्री मैन्युअल को सफलतापूर्वक पर कर लिया है। इसरो ने ही इसकी जानकारी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक के जरिए अगर आसान भाषा में बताया जाए तो अर्थ बाउंड्री का मतलब है पृथ्वी का चक्कर लगाते हुए उसने गुरुत्वाकर्षण बल के जरिए उसने अपने स्पेस सफर के लिए  स्पीड को पैदा कर लिया है। सूर्य के अध्ययन करने के लिए अंतरिक्ष में भेजे गए आदित्य L1 भारत की पहली स्पेस ऑब्जर्वेटरी है। बता दे कि पृथ्वी और सूरज के बीच पांच लैंग्वेज पॉइंट मौजूद है लैंग्वेज पॉइंट उसे जगह को कहा जाता है जहां सूर्य को बिना किसी ग्रहण या अवरोध के देखा जा सकता है और इसी जगह पर आदित्य एल 1 को भेजा जा रहा है ताकि वह सूर्य का अध्ययन कर सके। 

पृथ्वी 16 दिनों के चक्कर लगाएगी आदित्य L1
आदित्य L1 स्पेसक्राफ्ट को लैंग्वेज पॉइंट वन पर भेजा जा रहा है बता दे कि पृथ्वी से पॉइंट की लगभग 15 लाख किलोमीटर की दूरी है जबकि सूर्य से पृथ्वी की दूरी 15 करोड़ किलोमीटर है। आदित्य L1 ने पहले दूसरे और तीसरे अर्थ बाउंड मैन्युअल को 3, 5 और 10 सितंबर को सफलतापूर्वक पूरा कर लिया था । इसरो का स्पेसक्राफ्ट पृथ्वी के चारों ओर 16 दिनों तक चक्कर लगाने वाला है और इस दौरान मैनुअल के जरिए ही आगे के सफर के लिए गति हासिल की जाएगी।

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