पटना : केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री राधामोहन सिंह ने आज कहा कि केंद्र सरकार राष्ट्रीय सहकारी विकास निगम (एनसीडीसी) तथा केन्द्रीय प्रक्षेत्र योजना के माध्यम से सहकारिता, कृषि और ग्रामीण विकास से संबंधित संस्थाओं के लिए हरसंभव सहायता उपलब्ध कराती है। श्री सिंह ने यहां सहकारी भारती सहकारी सम्मेलन एवं राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक के बाद आयोजित संवाददाता सम्मेलन में कहा कि एनसीडीसी तथा केन्द्रीय प्रक्षेत्र योजना के माध्यम से केंद्र सरकार सहकारिता, कृषि और ग्रामीण विकास से संबंधित संस्थाओं के लिए हरसंभव सहायता उपलब्ध कराती है।
यह संस्था सहकारी क्षेत्र में कृषि उत्पादों के विकास, कृषि निवेशों की पूर्ति, विपणन, भंडारण तथा प्रसंस्करण संबंधी कार्यों में सहायता देती है। उन्होंने कहा कि साथ ही कृषि से संबंधित कार्य मात्स्यिकी,कुक्कुट पालन,कीट पालन,डेयरी,हस्तकरघा तथा लघु वन उपज के विकास के लिए वित्तीय सहायता भी उपलब्ध कराती है। केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि महिला,श्रमिकों,अनुसूचित जाति एवं जनजातियो के उत्थान के लिए भी वित्त पोषक के रूप में भी यह संस्था काम करती है। वर्ष 2016-17 में एनसीडीसी ने विभिन्न सहकारी विकास कार्यक्रमों के मद में 74648.73 करोड़ रुपये की राशि वितरित की है।
उन्होंने कहा कि इसी तरह वर्ष 2015-16 की तुलना में वित्तपोषण के दृष्टिकोण से एनसीडीसी की उपलब्धि 124 प्रतिशत अधिक रही है। श्री सिंह ने कहा कि एनसीडीसी विकास के लिए सहकारी समितियों को राज्य सरकारों के माध्यम से या राज्य सरकारों की गारंटी पर आवश्यक वित्तीय सहायता उपलब्ध कराती है। जिन क्षेत्रों में एनसीडीसी वित्तीय सहायता उपलब्ध कराती है उनमें व्यापार विकास, ढ़चागत सुविधाओं का सृजन, प्रसंस्करण, संवर्द्धनात्मक एवं विकासात्मक कार्यक्रम, कृषि विपणन ढांचे के विकास, भंडारण और एकीकृत सहाकारी विकास परियोजना शामिल है।
केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि मानव संसाधन के समुचित उपयोग के लिए व्यवसायी एवं आधुनिक प्रबंधन में उनके मंत्रालय की राष्ट्रीय सहकारी प्रशिक्षण परिषद, नई दिल्ली अपनी एक राष्ट्रीय तथा 19 क्षेत्रीय सहकारी प्रबंध संस्थानों के माध्यम से देश के सहकारी क्षेत्र से जुड़ सदस्यों, निर्वाचित प्रतिनिधियों, विभागीय पदाधिकारियों के प्रशिक्षण की आवश्यकता को पूरा करती है। साथ ही सहकारी संस्थाओं की सबलता के लिए आवश्यक परामर्शदात्री सेवाएं तथा अनुसंधान कार्य भी करती है। श्री सिंह ने कहा कि कुछ वर्षों में परिषद ने सहकारिता प्रशिक्षण के क्षेत्र में अत्यंत ही सराहनीय कार्य किया है। वर्ष 2016-17 में परिषद ने 1896 प्रशिक्षण कार्यक्रमों का आयोजन कर विभिन्न सहकारी संस्थाओं एवं सहकारिता विभाग के 60135 प्रतिनिधि अधिकारियों को प्रशिक्षित किया गया है।
उन्होंने कहा कि बिहार एवं झारखंड की सहकारी संस्थाओं, सहकारिता एवं संबद्ध विभागों के प्रतिनिधि अधिकारियों के प्रशिक्षण की आवश्यकता के लिए पटना के दीप नारायण सिंह क्षेत्रीय सहकारी प्रबंधन संस्थान की भूमिका भी अहम है। वर्ष 2016-17 में 186 प्रशिक्षण कार्यक्रमों के माध्यम से पांच हजार से अधिक प्रतिभागियों को प्रशिक्षित किया गया है।
केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि मंत्रालय सहकारी अध्ययन एवं मानव संस्थान प्रबंध पर गुड़गांव में लक्ष्मण राव अकादमी की स्थापना 28 फरवरी को करेगा जिसमें शिक्षा एवं प्रशिक्षण के माध्यम से श्री लक्ष्मणराव इनामदार की विचाराधाराओं, मान्यताओं एवं सिद्धांतों को प्रचारित किया जायेगा।
केंद्र सरकार सहकार भारती एवं राज्य तथा राष्ट्र स्तरीय सहकारी संस्थाओं के सहयोग से नयी दिल्ली के पूसा में मार्च माह में सहकारी मेले का आयोजन भी करेगी। इसके अलावा प्रत्येक वर्ष श्री इनामदार की स्मृति में सहकारी प्रदर्शनी, मेलों एवं सेमिनार का आयोजन किया जायेगा। उन्होंने कहा कि सहकारी आंदोलन ने भारतीय ग्रामीण अर्थव्यवस्था के विकास में क्षेत्रीय असंतुलन को कम करने तथा किसानों को उनके उत्पाद के लिए कृषि विपणन की सेवायें उपलब्ध कराने में योगदान दिया है।
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