नई दिल्ली : दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्षा स्वाति मालीवाल ने महिला सुरक्षा पैदल यात्रा के आठवें दिन राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को खत लिखकर निर्भया के हत्यारों को जल्द फांसी की अपील की है। मालीवाल ने खत के जरिये निर्भया के दोषियों पर न्यायिक प्रक्रिया तेज करने की अपील की है। यह खत उन खबरों के बीच लिखा गया है, जिसमें बताया गया है कि निर्भया के हत्यारे अदालत में क्यूरेटिव याचिका दाखिल करने की योजना बना रहे हैं।
स्वाती मालीवाल रविवार को रविदास कैम्प के झुग्गी में रुकेंगी और वहां की स्थिति देखेंगी। निर्भया के दोषी भी इसी कैम्प में रहते थे। दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्षा स्वाति मालीवाल ने राष्ट्रपति से अपील की है कि वह केंद्र सरकार को तुरंत एक अध्यादेश लाने के लिए निर्देश दें, जिससे बलात्कार के मामलों में 3 महीने के अंदर ट्रायल पूरा हो सके। अगले तीन महीने में सभी अपील, पुनर्विचार याचिका और क्यूरेटिव याचिका निपटाई जाएं। इससे 6 महीने के अंदर न्याय मिल सकेगा।
निर्भया का न्याय अधूरा
पत्र में राष्ट्रपति का ध्यान निर्भया के बर्बर बलात्कार की तरफ खींचा गया, जिसमें 6 साल के बाद भी न्याय पूरा नहीं हुआ है। निर्भया के माता-पिता अपनी बेटी को न्याय दिलाने के लिए दर-दर भटक रहे हैं। सुप्रीम कोर्ट ने 5 मई 2017 को 4 दोषियों को फांसी की सजा सुना दी थी और उनकी पुनर्विचार याचिका भी रद्द कर दी थी, लेकिन अब तक दोषियों को फांसी नहीं हुई है।
हर दिन तीन नाबालिग यौन हिंसा की शिकार
स्वाति मालीवाल ने पत्र में लिखा है कि दिल्ली विश्व मे रेप कैपिटल के नाम से बदनाम है। शहर में 8 महीने तक की छोटी बच्चियों के साथ निर्दयता से बलात्कार किया गया। एनसीआरबी डाटा का हवाला देते हुए मालीवाल ने लिखा कि दिल्ली में हर दिन औसतन तीन नाबालिग लड़कियां यौन हिंसा की शिकार होती हैं।
न्याय में देरी होने की वजह से अपराधियों के मन मे डर नहीं है। आयोग की अध्यक्षा ने राष्ट्रपति से कहा कि कम से कम बलात्कार के मामलों में ऐसी न्याय व्यवस्था होनी चाहिए, जिससे एक समय सीमा के अंदर अपराधी को सजा मिल सके।