नई दिल्ली : दिल्ली नगर निगम चुनावों के बाद पहली बार दिल्ली प्रदेश कांग्रेस के कार्यालय पर इतनी भीड़ नजर आई थी। मौका था दिल्ली प्रदेश यूथ कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष अमित मलिक की घरवापसी का। लगभग 11 महीने बाद अमित मलिक ने कांग्रेस में वापसी की है। दिल्ली सरकार के पूर्व मंत्री अरविंदर सिंह लवली के साथ पार्टी छोड़कर जाने वाले अमित मलिक, लवली के साथ वापसी नहीं कर पाए थे। जिसके बाद से इनकी वापसी को लेकर तरह-तरह के कयास लगाए जा रहे थे। अमित मलिक के साथ पूर्व सचिव जयकरण चौधरी और परमिंदर शर्मा की भी कांग्रेस में वापसी हुई है।
अशोक गहलोत ने मिलवाया राहुल गांधी से
लंबे समय से कांग्रेस में वापसी के लिए छटपटा रहे अमित मलिक की घरवापसी में कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव अशोक गहलोत ने अहम भूमिका निभाई है। पांच दिन पहले अशोक गहलोत के माध्यम से अमित मलिक कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी से मिले थे। राहुल गांधी से मिलकर अमित मलिक ने कांग्रेस छोड़ने के अपने गिले-शिकवे दूर किए और उनके सामने अपनी बात भी रखी कि किस प्रकार निगम चुनावों में यूथ कांग्रेस के कार्यकर्ताओं की अनदेखी की गई थी। पूर्व यूथ अध्यक्ष अमित मलिक की कांग्रेस में वापसी की खबर फैलते ही सैकड़ों की संख्या में कांग्रेस के युवा कार्यकर्ता प्रदेश कार्यालय पहुंच गए थे। जिस कारण डीडीयू मार्ग पर लंबा जाम भी लग गया था।
कृष्णा तीरथ, बरखा सिंह के लिए बंद हैं दरवाजे
अमित मलिक की वापसी के दौरान प्रदेश अध्यक्ष अजय माकन से पूछा गया कि कांग्रेस छोड़कर गए अन्य नेताओं की वापसी कब होगी तो जवाब में माकन ने बिना किसी का नाम लिए कहा कि जिस भी कार्यकर्ता या नेता ने राहुल गांधी के खिलाफ गलत बयानबाजी और मनगढ़ंत आरोप लगाए हैं उनके लिए कांग्रेस के दरवाजे हमेशा के लिए बंद हैं। गौरतलब है दिल्ली से पूर्व सांसद कृष्णा तीरथ और दिल्ली प्रदेश महिला कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष बरखा सिंह ने कांग्रेस पार्टी और राहुल गांधी के खिलाफ जमकर जहर उगला था, जाहिर तौर पर अजय माकन का इशारा ऐसे ही नेताओं की ओर था।
लवली खेमे को मिलेगी ताकत… अमित मलिक पूर्व मंत्री अरविंदर सिंह लवली के करीबी माने जाते हैं। अमित मलिक की वापसी में अरविंदर सिंह लवली का भी अहम रोल रहा है। मलिक की वापसी से लवली के खेमे को भी पार्टी में बल मिलेगा।
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