नई दिल्ली: रिलीज होने से पहले ही विवादों में आई संजय लीला भंसाली की फिल्म ‘पद्मावती’ के लिए एक और बुरी खबर आ रही है। सूत्रों के मुताबिक इस फिल्म के रिलीज होने की तारीख टल सकती है। फिलहाल फिल्म ‘पद्मावती’ को 1 दिसंबर से सिनेमाघरों में दिखाया जाना है, लेकिन ऐसा माना जा रहा है कि विवादों की वजह से फिल्म ‘पद्मावती’ की तारीख अगले साल 12 जनवरी को हो सकती है। सेंसर बोर्ड ने फिल्म ‘पद्मावती’ अभी तक नहीं देखी है।
दरअसल, नियमों के मुताबिक किसी फिल्म को सर्टिफिकेशन के लिए रिलीज से 15 दिन पहले सेंसर के पास भेजना होता है। फिल्म की पहली कॉपी का काम पूरा नहीं हुआ था। इस वजह से इसे सेंसर के पास नहीं भेजा गया था। फिल्म 17 नवंबर को ही सेंसर के पास भेजी गई है।प्रस्तावित तारीख 1 दिसंबर पर रिलीज के लिए बोर्ड के पास फिल्म भेजने की तारीख ख़त्म हो गई थी।
फिल्म पर जारी विवाद : हालांकि यह साफ नहीं है लेकिन फिल्म पर जारी विवाद भी रिलीज डेट की टलने की एक वजह हो सकती है।फिल्म पर करणी सेना और कांग्रेस-बीजेपी जैसे राजनीतिक दलों ने आपत्ति जाहिर की है। गुजरात में विधानसभा चुनाव और यूपी में निकाय चुनाव के मद्देनजर बीजेपी ने इसे टालने की मांग की थी। बीजेपी ने निर्वाचन आयोग को चिट्ठी लिखकर इसकी डेट टालने की मांग की थी। सेंसर का मामला बताते हुए आयोग ने इसे स्वीकार करने से मना कर दिया था।
फिल्म को लेकर जारी गतिरोध कुछ दिनों के लिए कम होगा। अगर फिल्म गुजरात और यूपी के निकाय चुनाव के बाद रिलीज होती हैं तो संभवत: राजनीतिक दलों के विरोध का सामना न करना पड़े।
करणी सेना और दूसरे राजपूत संगठनों के नेतृत्व में जारी आंदोलन कमजोर पड़ेगा। चूंकि फिल्म की रिलीज तारीख टल रही है शायद जनवरी में में इसकी रिलीज शांति से हो सके।
उधर, उच्च पदस्थ सरकारी सूत्रों ने इंडिया टुडे से यह साफ़ किया कि पद्मावती को लेकर सीबीएफसी के कामकाज में सरकार की ओर से किसी तरह का दखल नहीं है। फिल्म के बार में कोई फैसला लेने के लिए सेंसर बोर्ड स्वतंत्र है। सेंसर की कार्यप्रणाली में सरकारी हस्तक्षेप नहीं है।
सेंसर बोर्ड सूत्रों ने यह भी बताया कि मेकर्स ने करणी सेना को रिलीज से पहले फिल्म दिखाने के लिए सेंसर बोर्ड से अनुमति मांगी है। इसके लिए सेंसर बोर्ड को पद्मावती के निर्माताओं की ओर से स्पेशल स्क्रीनिंग के किए चिट्ठी लिखी गई है। सरकारी सूत्रों के मुताबिक़ पद्मावती में अभिनय करने वाले सितारों को पर्याप्त सुरक्षा प्रदान की जा रही है। पूरे देश में हो रहे विरोध प्रदर्शन से उत्पन्न कानून-व्यवस्था की स्थिति पर सरकार की नजर है।