दरभंगा एम्स को लेकर दिए गए केंद्र सरकार के बयान के बाद बिहार में राजनीति गरमाई गई है, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया और बिहार सरकार के स्वास्थ्य मंत्री तेजस्वी यादव के बीच जुबानी जंग छिड़ गई है। तेजस्वी यादव ने पूछा कि जब दरभंगा एम्स के लिए जमीन ही फाइनल नहीं हुई तो केंद्र सरकार ने दरभंगा एम्स खुलने की बात कैसे बोली दी, तेजस्वी यादव ने सोशल मीडिया पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया पर भी हमला किया।
जानिए तेजस्वी यादव ने सरकार से क्या किए सवाल
तेजस्वी यादव सोशल मीडिया पर लिखा कि यह कौन सा विकास है, जो दिखाई भी नहीं दे रहा है, जहां स्वास्थ्य मंत्रालय ने एम्स के लिए अभी तक जगह भी फाइनल नहीं की है और केंद्र सरकार कह रहे हैं कि वहां एम्स खोल दिया गया है? जिस काल अवधि का आप वर्णन कर रहे है उस समय से लेकर पूर्व के कई वर्षों तक बिहार में भाजपा के ही स्वास्थ्य मंत्री रहे हैं। शायद आप उनकी असफलता को दिखा रहे हैं। बिहार सरकार ने शोभन बाईपास जैसी बेहतर लोकेशन पर फ्री सेवा 151 एकड़ भूमि केंद्र को हस्तांतरित की है, जिसमें मिट्टी भराई का 300 करोड़ अतिरिक्त व्यय भी राज्य सरकार वहन कर रही है।
तेजस्वी के बयान पर मंडाविया ने किया कटाक्ष
आपको बता दें कि इस बयान से पहले तेजस्वी यादव ने सोशल मीडिया पर स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया को लिखा गया पुराना पत्र शेयर किया था। इसमें तेजस्वी ने लिखा था कि आज प्रधानमंत्री जी दरभंगा में एम्स खुलवाने का झूठा श्रेय ले रहे थे। प्रधानमंत्री से देश कम से कम सत्य और तथ्य की अपेक्षा करता है लेकिन उन्होंने सफ़ेद झूठ बोला। इस बयान पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया पलटवार करते हुए कहा कि प्रिय तेजस्वी जी, मोदी सरकार विकास में राजनीति नहीं करती बल्कि विकास की राजनीति करती है। हमारी नीयत साफ है। एम्स दरभंगा की अनुमति मोदी सरकार ने 19 सितंबर 2020 को दी थी और बिहार सरकार ने 3 नवंबर 2021 को पहली ज़मीन दी।